मंगलवार, अक्तूबर 14, 2008

युवाओ का देश -बुजुर्गो का राज, कल भी था और है आज

भारत युवाओं का देश ।

यहाँ पर कुल जनसँख्या का ५०% से ज्यादा युवा है पर सबसे हैरानी की बात है यहाँ के नेता राष्ट्र पति ,प्रधानमंत्री ,कई राज्यों के मुख्यमंत्री और लगभग सभी राज्यपाल की औसत आयु ७० से ८० वर्ष के बीच है ।

और तो और पी ऍम पद के मुख्य उमीदवार मनमोहन सिंह और लाल कृष्ण अडवानी दोनों ८० + है । भारत की दिल दिल्ली के दोनों मुख्यमंत्री पद के घोषित भी ८० के आस -पास

युवा क्या करें ? बुजुर्ग होने का इंतज़ार । जबाब चाहिए क्या युवा इतना परिपक्व नहीं कि वह देश को चला सके

वैसे जवान कन्धे ज्यादा बोझ उठा सकते है ज्यादा देर तक उठा सकते है ।

4 टिप्‍पणियां:

  1. बुजुर्गो का तजुर्वा( लेकिन जिन का नाम आप ने लिया है यह सब नालयक है) ओर युवाओ को यह तजुरवा नही बस.
    धन्यवाद

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  2. aapne kaha toh sahi hai, par shyad abhi yuva itne samzhdaar nahi hue ki desh chala sake!

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  3. हिन्दुस्तान में लोग समझते है की सारे उमदराज समझदार है !

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  4. बात तो आप सही कह रहे हैं वैसे हमारे देश में युवा राजनेता भी हैं लेकिन वो दिखते कम ही हैं, खैरे मेरे हिसाब से राजनिती अमीरों की जागीर हैं बेचारा गरीब तो नैकरीपेशा ही पैदा होता है और नैकरीपेशा ही मर जाता है|

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आप बताये क्या मैने ठीक लिखा