tag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post4472257840695213457..comments2023-07-28T18:44:10.707+05:30Comments on Darvaar दरबार: चिपलूनकर जी सिर्फ एक बात कि हिंदुत्व का ठेका संघ , भाजपा या शिवसेना का नहीं हैdhiru singh { धीरेन्द्र वीर सिंह }http://www.blogger.com/profile/06395171177281547201noreply@blogger.comBlogger29125tag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-3330932081760675202009-10-17T06:48:12.380+05:302009-10-17T06:48:12.380+05:30एक बातyah bhi hai.एक बातyah bhi hai.Randhir Singh Sumanhttps://www.blogger.com/profile/18317857556673064706noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-29421204152286166702009-10-15T21:57:48.667+05:302009-10-15T21:57:48.667+05:30@धीरू भाई जब आपने इस महत्वपूर्ण मुद्दे को उठाया है...@धीरू भाई जब आपने इस महत्वपूर्ण मुद्दे को उठाया है तो सबों की टिप्पणियों को उचित सम्मान देते हुए निसाचर जी, सुरेश जी, जयराम जी और मेरे सवालों का उचित जवाब भी दीजिये |Rakesh Singh - राकेश सिंहhttps://www.blogger.com/profile/03770667837625095504noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-14503660651081184562009-10-15T21:51:01.244+05:302009-10-15T21:51:01.244+05:30@धीरू जी जैसा की आपने अपनी टिप्पणी मैं कहा - आप मे...@धीरू जी जैसा की आपने अपनी टिप्पणी मैं कहा - आप मेरे उदाहरण से १००% सहमत हैं | मतलब अब आप ये मानते हैं की "हिंदुत्व पर कोई विपदा भी नहीं है" वाली आपकी बात गलत है | चलिए संकट को देर होने से पहले ही समझने मैं भलाई है |<br /><br />देखिये कश्मीरियों हिन्दू पर अत्याचार के समय भाजपा ने कुछ खास नहीं किया पर कश्मीरी हिन्दुओं का मुदा यदि आज भी उठ रहा है तो मैं मानता हूँ की भाजापा के कारन ही | जब कश्मीर मैं हिन्दुओं का कत्लेआम हो रहा था तब आपकी कांग्रेस या वामपंथी अपने वोट सेट करने मैं मशगुल थे | भाजपा ने ही इस मुद्दे को अब तक जिंदा रखा है | कांग्रेस और वामपंथी आज तक कश्मीरी हिन्दुओं की समस्या को समस्या मानता ही नहीं | <br /><br />भाजापा मैं कुछ मुस्लिमों के होने भर को ही आप भाजापा तुस्टीकरण मान बैठे हैं, एक दो तुस्टीकरण की पॉलिसी भी गिना देते तो समझ मैं आता ... | खैर अन्य पार्टियों मैं तो मुस्लिम नेता भरे पड़े हैं, आपके हिसाब से वो पार्टी (कांग्रेस, वामपंथी, समाजवादी, लालू, माया जी....) ज्यादा साम्प्रदायिक है, क्यों? <br /><br />हिंदुत्व की रक्षा इन कमजोर सत्ता लोलुप लोगो से नहीं हो सकती - ये तो बिलकुल सही कहा है | तो हिंदुत्वा की रक्षा कांग्रेस, वामपंथी, समाजवादी, लालू, माया जी.... कौन करेगी या एक ऐसा व्यक्ती जो खुल के हिंदुत्वा पे बोलने से डरता है या कतराता है, आखिर कौन ? <br /><br />आपके जवाब का इन्तजार रहेगा |Rakesh Singh - राकेश सिंहhttps://www.blogger.com/profile/03770667837625095504noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-14400202891444728992009-10-15T18:30:14.022+05:302009-10-15T18:30:14.022+05:30धीरू जी, आप संघ की छत्रछाया में युवा हुए और फिर भी...धीरू जी, आप संघ की छत्रछाया में युवा हुए और फिर भी संघ ने आपका ब्रेनवाश नहीं किया और आप वह सब बातें कह सके जिसकी एक "संघी" से उम्मीद नहीं की जाती. क्या यही काफी नहीं है उन लोगो को जवाब देने के लिए जो संघ को "हिन्दू साम्प्रदायिकता" की नर्सरी कहते हैं?<br /><br />मैं कभी संघ की शाखा में नहीं गया. कभी किसी स्वयंसेवक या प्रचारक के संपर्क में नहीं आया. कभी किस राजनैतिक दल या राजनैतिक व्यक्ति के संपर्क में नहीं रहा. 10 वर्ष की उम्र में ८४ के दंगों के दौरान एक सिख युवक को दो दिन तक अपने घर की दुछत्ती में छिपाए रखा (अपने घरवालों की जानकारी के बगैर) और अपने दो रोटी की खुराक को उसके साथ बांटकर खाया. १३ वर्ष की उम्र में नास्तिक हो गया और तब से आज तक कभी किसी पूजागृह में प्रवेश नहीं किया. प्रथम खाड़ी युद्ध के दौरान अमेरिका द्वारा द्वारा एक ईरानी नागरिक हवाई जहाज को मार गिराने पर अपने स्कूल के मैदान में अकेले खड़े होकर जूनियर बुश के बाप को जी भरकर गालियाँ दीं और अमेरिका विरोधी नारे लगाये. १५ वर्ष की उम्र में राममंदिर आन्दोलन के दौरान आडवानी की रथयात्रा के दौरान फैले सांप्रदायिक वैमनस्य से खिन्न होकर आडवानी को गालियाँ दीं. कहने का मतलब यह कि एक "कट्टर कम्यूनिस्ट" कहलाने के लिए आवश्यक सभी गुण मुझमें बचपन से थे.<br /><br /> अब दूसरी बात, हिंदुत्व का ठेका शिवसेना, भाजपा या संघ किसी ने नहीं ले रखा है लेकिन हिन्दुओं को इनके पीछे खडा होने के लिए कौन मजबूर कर रहा है यह किसी से छिपा नहीं है. आज हर दूसरा राजनैतिक दल "सेकुलरिस्म" के नाम पर हिन्दुओं की भावना और आस्था पर कुठाराघात करता हुआ एक वर्गविशेष के तुष्टीकरण में लीन है. ऐसे में अगर हिन्दू संघ, भाजपा या शिवसेना में अपनी समस्याओं का हल खोजते हैं तो गलत क्या है? और अगर गलत है तो फिर विकल्प भी सुझाएँ............. परन्तु यह कहकर हमारी बात को खारिज करने का प्रयास ना करें कि आप संघी और भगवा मानसिकता वाले सांप्रदायिक लोग हैं.निशाचरhttps://www.blogger.com/profile/17104308070205816400noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-59159135300468338312009-10-15T17:45:16.439+05:302009-10-15T17:45:16.439+05:30aapko deepawali ki haardik shubhkaamnayen......aapko deepawali ki haardik shubhkaamnayen......डॉ. महफूज़ अली (Dr. Mahfooz Ali)https://www.blogger.com/profile/13152343302016007973noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-6162749481912003142009-10-15T17:09:05.962+05:302009-10-15T17:09:05.962+05:30@ भाई राकेश जी ,
आपके दिए उधारण से १०० % सहमत हूँ...@ भाई राकेश जी , <br />आपके दिए उधारण से १०० % सहमत हूँ लेकिन कश्मीरियों हिन्दू पर अत्याचार के समय भाजपा सरकार ने क्या किया . <br />मुख्तार अबास नकवी और शाहबुद्दीन अब और पहले सिकन्दर बख्त क्या भाजपा का मुस्लिम तुष्टिकरण नहीं है . <br />हिंदुत्व की रक्षा इन कमजोर सत्ता लोलुप लोगो से नहीं हो सकती क्योकि इतिहास है जब भी संकट आया है कोई चन्द्रगुप्त आगे आया शायद कोई चाणक्य तैय्यार कर रहा होगा च्न्द्र्दुप्त को .dhiru singh { धीरेन्द्र वीर सिंह }https://www.blogger.com/profile/06395171177281547201noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-13643546554234450672009-10-15T17:05:42.912+05:302009-10-15T17:05:42.912+05:30@ SALEEM AKHTAR SIDDIQUI
श्रीमान सिद्दकी जी, यह कह...@ SALEEM AKHTAR SIDDIQUI<br />श्रीमान सिद्दकी जी, यह कहने से पहले कि इन लोगो ने यहाँ भी अखाडा जोड़ लिया है आप तनिक अपनी गिरेवान में भी झाँक लेते ! और तो और इस ब्लॉग जगत पर भी "हमारी अंजुमन" नाम से एक अलग गुट या अखाडा आपके इन विरादारो ने ही बनाया है, किसी हिन्दू ने ऐसा कोई गुट नहीं बनाया! खैर, हमें उससे भी ऐतराज नहीं पर मेरी समझ में नहीं आता कि मुसलमानों को दूसरो की एकता क्यों नहीं भाती ?क्या तकलीफ है, क्या हिन्दुओ या अन्य किसी को इसका हक़ नहीं ? या फिर आप लोगो को कोई डर लगता है क्या ?पी.सी.गोदियाल "परचेत"https://www.blogger.com/profile/15753852775337097760noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-4656616102398142642009-10-15T13:46:39.485+05:302009-10-15T13:46:39.485+05:30इस टिप्पणी को एक ब्लॉग व्यवस्थापक द्वारा हटा दिया गया है.अवधिया चाचाhttps://www.blogger.com/profile/03952147312570669352noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-76991136545037820172009-10-15T13:27:13.689+05:302009-10-15T13:27:13.689+05:30yahan bhi bhai logon ne akhada jod liya hai.yahan bhi bhai logon ne akhada jod liya hai.सलीम अख्तर सिद्दीकीhttps://www.blogger.com/profile/16353232432428018949noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-78296001431594272622009-10-15T12:37:13.057+05:302009-10-15T12:37:13.057+05:30इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/02326531486506632298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-58143051243827298612009-10-15T12:31:37.032+05:302009-10-15T12:31:37.032+05:30अपना नाम बदलकर, "अवधिया चाचा" के नाम से ...अपना नाम बदलकर, "अवधिया चाचा" के नाम से जो भी व्यक्ति टिप्पणियाँ कर रहा है, उसकी औकात सभी लोग पिछले 1-2 माह में वाकिफ़ हो चुके हैं…। एक घटिया सी "अंजुमन" से निकलकर आया हुआ यह वायरस, "जनादेश वाले पत्रकारों" की एकदम खालिस धमकी के बाद नाम बदलकर टिपिया रहा है… जिसे इसकी टिप्पणी रखना हो रखे, हटाना हो तो हटाये… मेरा काम था आगाह करना सो कर दिया…Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/02326531486506632298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-12934593162027090762009-10-15T12:27:34.193+05:302009-10-15T12:27:34.193+05:30प्रतिक्रिया हेतु धन्यवाद धीरु भाई,
मेरे लेख का मं...प्रतिक्रिया हेतु धन्यवाद धीरु भाई, <br />मेरे लेख का मंतव्य भी यही था कि भले ही शिवसेना-भाजपा ने आज तक हिन्दुत्व के लिये कोई उल्लेखनीय काम नहीं किया हो, लेकिन ज़रा सोचिये कि यदि ये पार्टियाँ हिन्दुत्व और हिन्दुओं पर होने वाले अत्याचारों, अन्याय के खिलाफ़ बोलना बन्द कर दें, या मान लीजिये कि भाजपा-शिवसेना हिन्दुत्व के बारे में बोलना ही छोड़ दें तब क्या होगा? राकेश सिंह जी ने ऊपर जो विभिन्न उदाहरण गिनाये हैं क्या तब उनकी संख्या इसकी अपेक्षा कहीं अधिक नहीं हो जायेगी? ये भी माना कि इन पार्टियों ने हिन्दुत्व का ठेका नहीं ले रखा, लेकिन किसी न किसी को तो यह ठेका लेना ही पड़ेगा, आप ही इसका विकल्प बतायें। ऐसे में जबकि भारत पर चारों दिशाओं से खतरा मंडरा रहा हो, भारत के भीतर से ही जयचन्द और विभीषण जड़ें खोदने में लगे हों, तब क्या किया जाये? ऊपर से यह राज ठाकरे, जो शिवसेना को कमजोर करने में लगे हैं…। मेरी दिली इच्छा है कि राज ठाकरे बुरी तरह हार जायें और अन्ततः शिवसेना में जा मिलें… भले ही महाराष्ट्र में कांग्रेस की सरकार बन जाये…Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/02326531486506632298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-18288773053581944902009-10-15T12:05:49.678+05:302009-10-15T12:05:49.678+05:30बंधू और भगिनी ये शब्द बस भाषण करनेके लिए हमे मिले ...बंधू और भगिनी ये शब्द बस भाषण करनेके लिए हमे मिले है!लेकिन कोई मरनेपर हमे ऐसा नही लगता के हमारे देश का इन्सान हमारा भाई था ! लेकिन इस्राइल के दस आदमी मरनेपर वह खुद्के घरका कोई ना होनेपर भी इतना दुखी होता है ! और हमारे मंत्री कहते है ऐसे हाद्से होते है ! अतँकवाद दुनियाके हर कोने मे है ! लेकिन उससे निपटने के लिए कोई कदम नही उथाते ! क्यूं की जैसा आप को लगता है की हिंदुओ को कोई धोका नही है वैसेही सरकार को लगता है की देश को कोई धोका नही है !K.K._________________https://www.blogger.com/profile/06470507777371823876noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-27235511474229088912009-10-15T11:56:54.710+05:302009-10-15T11:56:54.710+05:30वाह धीर सिंह जी, आपने तो धीरे से जोर का धक्का मार...वाह धीर सिंह जी, आपने तो धीरे से जोर का धक्का मारा, हमार दंगा फसादी भैय्या को मराठी के लिये मांग करने दो, फिर गुजराती, तेलगु, हरियाणवी सबके लिये लडेंगे, इसी में हिन्दी हित है, कि बस वह अवध की बन के रह जाये क्यूंकि उसके लिये तो ऐसा वीर है ही नहीं जैसा कि मराठी को चिपलूनकर महाराज है,<br /><br />दीवाली की शुभकामनायें, सबको मिठाइयां बांटना क्यूंकि अबकि बार मिलावट तो है ही नहीं, इसमें किसका हित है पता करके बताउंगा,<br /><br />आपका अवधिया चाचा<br />जो कभी अवध गया ही नहींअवधिया चाचाhttps://www.blogger.com/profile/03952147312570669352noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-72130010125609073992009-10-15T11:55:36.811+05:302009-10-15T11:55:36.811+05:30@ owner
यही तो फर्क है इस्राइल और भारत मैं ! ...@ owner<br /><br />यही तो फर्क है इस्राइल और भारत मैं ! उनके दस लोग मरनेसे उन्को तकलिफ होती है और वो हमालेकी तयारी करते है ! और हम दोसो लोग मरनेपर कहते है कोई बडी बात नहि है ! बंधू और भगिनी ये शब्द बस भाषण करनेके लिए हमे मिले है ! हम बस मेंडेक की तरह है जिसको पानी मे डाल के पानी उबालना चालू करो वह मरनेतक उस्मेहि रहेगा कुद कर बहर नही आता ऐसा कहते है !<br /><br /><br />Varun Kumar Jaiswal and<br />Rakesh Singh & Chiplunkarji tinose <br />sahamatK.K._________________https://www.blogger.com/profile/06470507777371823876noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-49246892362630199532009-10-15T09:58:54.879+05:302009-10-15T09:58:54.879+05:30बहुत सुन्दर प्रस्तुति, दीपावली की हार्दिक शुभकामना...बहुत सुन्दर प्रस्तुति, दीपावली की हार्दिक शुभकामनाये !<br />धीरू जी, <br />श्री कँवर जीत सिंह जी की एक अंगरेजी कविता याद अ रही है ; I detest these politicians and bureaucrats <br />Who nibble at the system like wild rats <br />And do what they are known to do best <br />Keep filling their pockets and their chests <br /><br />Why are we ruled by these imbeciles <br />Why are we fooled by these slimy eels <br />Who stick to their seats and pass the blame <br />For they are used to this and have no shame <br /><br />Out with them Oh countrymen <br />Throw them out before they strengthen their den <br />Throw them so, so very far <br />That they are never able to return againपी.सी.गोदियाल "परचेत"https://www.blogger.com/profile/15753852775337097760noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-24918292820843270322009-10-15T09:02:50.272+05:302009-10-15T09:02:50.272+05:30धीरू भाई!!
हमारी सरकार भी तो जब तक एक हिन्दू और एक...धीरू भाई!!<br />हमारी सरकार भी तो जब तक एक हिन्दू और एक मुस्लिम को गले मिलते ना दिखा दे .....तब तक गैर साम्प्रदायिक का तमगा कहाँ हासिल कर सकती है? मानवता वादी क्यों नहीं होते हम और हमारी सरकार?<br />बाकी तो आप समझदार हैं!<br /><br /><br /><a href="http://primarykamaster.blogspot.com/" rel="nofollow">प्राइमरी के मास्टर </a> की दीपमालिका पर्व पर हार्दिक बधाई स्वीकार करें!!!!<br /><br /><b>तुम स्नेह अपना दो न दो ,<br />मै दीप बन जलता रहूँगा !!</b><br /><br />अंतिम किस्त-<br /><a href="http://primarykamaster.blogspot.com/2009/10/blog-post_15.html" rel="nofollow">कुतर्क का कोई स्थान नहीं है जी.....सिद्ध जो करना पड़ेगा?</a>प्रवीण त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/02126789872105792906noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-49736440750434041432009-10-15T08:43:06.080+05:302009-10-15T08:43:06.080+05:30जो भी हो कम से कम राज ठाकरे को हिन्दुत्व या राष्ट्...जो भी हो कम से कम राज ठाकरे को हिन्दुत्व या राष्ट्र्वाद जैसी विचारधारा का वाहक नही कहा जा सकता । अगर सन्घ नही तो विकल्प क्या है वो भी बतायें ? हिन्दुत्व से उपर होकर देखें तब भी देश हित में ,स्थाइ लोकतत्र के हित मे राज ठाकरे एक बीमारी है । क्या क्षेत्रीयता के आधर पर चुनाव लड्ने वाले ये दल देश को नुक्सान नही पहुन्चा रहे ?Jayram Viplavhttps://www.blogger.com/profile/16251643959205358549noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-18158160686978882852009-10-15T08:33:51.762+05:302009-10-15T08:33:51.762+05:30चाहे भाजपा हिंदुत्व की असली वाहक न हो लेकिन घटिया ...चाहे भाजपा हिंदुत्व की असली वाहक न हो लेकिन घटिया राष्ट्रद्रोही कांग्रेस की अब भी एक हद तक राजनैतिक विकल्प तो है ही |Varun Kumar Jaiswalhttps://www.blogger.com/profile/06755807348407548036noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-2411832991544928742009-10-15T07:23:50.216+05:302009-10-15T07:23:50.216+05:30आपने लिखा है की - "हिन्दू और मुस्लिम पर आधारि...आपने लिखा है की - "हिन्दू और मुस्लिम पर आधारित राजनीती चलती होती तो हिन्दू महासभा और मुस्लिम लीग के आलावा कोई नहीं होता सत्ता में ... ". आपको वर्तामान कांग्रेस मुस्लिम लीग से कम नजर आती है क्या?Rakesh Singh - राकेश सिंहhttps://www.blogger.com/profile/03770667837625095504noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-4085661859886983572009-10-15T07:11:44.464+05:302009-10-15T07:11:44.464+05:30चिपलूनकर जी का आलेख तो पढा है मैंने और मुझे तो ऐसा...चिपलूनकर जी का आलेख तो पढा है मैंने और मुझे तो ऐसा कुछ भी नहीं लगा | पता नहीं आप किस द्रिस्टीकोन से सोच रहे हैं ?<br /><br />आपके इस बात से सहमत नहीं हुआ जा सकता की "हिंदुत्व पर कोई विपदा भी नहीं है" | ढेर सारे घटनाओं से अनभिज्ञ रह कर और भारतीय गन्दी सेकुलर सोच रखेंगे तो आपको ऐसा ही लगेगा की हिंदुत्व पर कोई विपदा है ही नहीं | जरा इन बातों पे गौर करें :<br /><br />* लाखों कश्मीरी हिन्दू,सिख अपने ही देश मैं सर्नार्थी बन कर जीवन यापन कर रहे हैं | कसूर इतना ही की वो हिन्दू या सिक्ख है |<br />* प्रतिदिन हुन्दुओं को मुर्ख बना कर/ठग कर धर्म परिवर्तन कराया जा रहा है | सेकुलर लिए शायद धर्म परिवर्तन तो कोई मायने ही नहीं रखता | <br />* मलेशिया, पाकिस्तान, बंगलादेश मैं हिन्दुओं की क्या दुर्दशा हो रही है ये तो शायद आप जानते ही होंगे | फिर भी आप चुप रहेंगे क्योंकि आप सेकुलर कहलाना चाहते हैं, क्यूँ?<br />* हिन्दुओं के मंदिर पे आतंकवादी हमला कर हिन्दुओं को मारता है | मुंबई हमले मैं भी आतंकवादियों ने साफ़ कहा की उनका टारगेट हिन्दू ही है | <br />* कांग्रेस सरकार खुलेआम कहती है भगवान् राम मिथक है | किसी और धर्म के मिथक पात्रों पे आप या सरकार बोलने की हिम्मत क्यूँ नहीं जुटाते? <br />* M.F.Hussain द्बारा हिन्दू देवी देवताओं की नग्न paintings को अभिव्यक्ति की आजादी कहा जाता है | और इसका विरोध करने वालों को साम्प्रदायिक | वहीँ पैगम्बर का कार्टून बनाने मात्र से पूरा मुसलमान सडकों पे आ जाता है | सरकार की दो नियत क्यों?<br />* प्रधानमन्त्री मुसलमाओं के लिए अलग से पैकेज (सिक्ख, जैन, बोद्ध, पारसी को अल्पसंख्यक माना ही नहीं जाता), क्यों <br />की गरीब हिन्दू सहायता के लायक नहीं है क्या?<br />............... <br />..............<br />लिस्ट बहुत लम्भी है बंधू | खैर लगता है सलीम खान पे एक-दो पोस्ट लिखने के बाद आप balance करने के चक्कर मैं ये पोस्ट लिखे हैं ...Rakesh Singh - राकेश सिंहhttps://www.blogger.com/profile/03770667837625095504noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-35981666500533156922009-10-15T00:00:55.178+05:302009-10-15T00:00:55.178+05:30यह बात कह कर अपने साहस का परिचय दिया है.यह बात कह कर अपने साहस का परिचय दिया है.रामकुमार अंकुशhttps://www.blogger.com/profile/01532826001976862972noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-71669337360640756222009-10-14T23:59:05.954+05:302009-10-14T23:59:05.954+05:30एक सही बात...
जो एक बेहतर तरीके से कही गई है....एक सही बात...<br />जो एक बेहतर तरीके से कही गई है....रवि कुमार, रावतभाटाhttp://ravikumarswarnkar.wordpress.comnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-40585137439412969092009-10-14T23:52:01.595+05:302009-10-14T23:52:01.595+05:30यह बात तो उन दलों को भी समझना चाहिये जो हिन्दुत्व ...यह बात तो उन दलों को भी समझना चाहिये जो हिन्दुत्व के मुद्दे से चिपके बैठे हैं क्योंकि आम व्यक्ति भी अब यह समझता है । आपने ठीक विश्लेषण किया है ।शरद कोकासhttps://www.blogger.com/profile/09435360513561915427noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2308429141619302170.post-7134057997890311782009-10-14T23:47:47.846+05:302009-10-14T23:47:47.846+05:30सही विश्लेषण| दीपावली की शुभकामनाएँ|सही विश्लेषण| दीपावली की शुभकामनाएँ|sshttps://www.blogger.com/profile/10746526495871896780noreply@blogger.com